अनोखी चूत चुदाई के बाद-1
हाथों में चाय की ट्रे थामे वो मेरी गजगामिनी बहू नयन झुकाये मेरी ओर चली आ रही थी, मेरी नज़र रह रह कर उसके वक्ष के उभार निहारती और फिर उसकी जांघों के मध्य जा कर ठहर जाती!
इंडियन इन्सेस्ट स्टोरी, चाचा-भतीजी, चाची-भतीजा, मौसी, बुआ सास, ससुर जैसे रिश्तों में, परिवार में, रिश्तेदारी में चुदाई की कहानियाँ जिसे वर्जित माना जाता है.
Indian homemade Sex Stories in Hindi of Bhai-Bahan, Rishton mein chudai, Jija Sali and Devar-Bhabhi
अन्तर्वासना की कुछ चुनिन्दा हिंदी कहानियाँ आप के लिए यहाँ पर भी हैं.
हाथों में चाय की ट्रे थामे वो मेरी गजगामिनी बहू नयन झुकाये मेरी ओर चली आ रही थी, मेरी नज़र रह रह कर उसके वक्ष के उभार निहारती और फिर उसकी जांघों के मध्य जा कर ठहर जाती!
कोलकाता के टूअर में अपने ससुर से चुद कर मेरे और मेरे परिवार के बीच एक नया रिश्ता जन्म ले चुका था, जो जब चाहता मुझे अपनी बीवी बना कर चोदता।
मैंने सभी कपड़े उतारे, आधे घंटे तक ससुर जी ने मेरी मालिश की, फिर ससुर जी ने बाथरूम में मुझे अच्छी तरह से नहलाया। बीच बीच में उनकी उंगली मेरी चूत, गांड में जा रही थी।
यह यक्ष प्रश्न मुझे बार बार कचोट रहा था और अदिति पर आश्चर्य भी हो रहा था कि कोई स्त्री ऐसी कैसे हो सकती है कि चुद जाए और यह भी न पहचान सके कि चोदने वाला उसका पति ही है या कोई और!!
मुझे शरारत सूझी तो मैंने हल्के से पापा जी को देखा, वो मेरी तरफ नहीं देख रहे थे तो मैं मौके का फायदा उठाते हुए वेटर को दिखाते हुए अपनी चूत को खुजलाने लगी।
यह हिन्दी सेक्स स्टोरी है एक ऐसे ससुर की जिसके पास उसकी बहू आधी रात के बाद अंधेरे में उसे अपना पति समझ कर आ गई और यौनक्रियाओं से रिझाने लगी। ससुर बेचारा…
रितेश बोला- यार, मेरे लंड की मेरी चूत रानी, तेरी चूत का क्या हाल चाल है? मैं पापा जी की बांहों में ही बिंदास बोली- बस तेरे लौड़े की याद आ रही है तो उसका पानी टप टप कर रहा है।
ससुर जी का लम्बा मोटा लंड देख कर मेरी चूत ललचा गई और उनका लंड मांगने लगी। लेकिन ससुर बहू की आपस की शर्म और हिचक तो बाकी थी। कहानी पढ़ कर देखें कि मैंने कैसे ससुर जी को पटाया।
हावड़ा पहुँच कर हम होटल में गए, पापा जी सोफ़े पर, मैं बेड पर लेट गई, मेरा बुखार तेज हो रहा था। सुबह मेरी नींद खुली तो मेरी नजर बाथरूम में पेशाब कर रहे पापाजी पर पड़ी।
एक दिन मेरी ममेरी बहन मेरे साथ चिपक कर सो रही थी.. मेरा लण्ड खड़ा हो गया और उसके जिस्म से लगने लगा। उसने मेरी जेब में हाथ डाल दिया और मेरा लण्ड पकड़ लिया।
दोनों बहनें साथ ही चाचा के कमरे में पहुंची थीं जहां चाचा अपना स्थूलकाय लिंग पाजामे से बाहर निकाले दरवाज़े की तरफ देख रहा था। 'आज करें क्या चाचा के साथ?'
क्या सिर्फ इसलिए उसे अपने शरीर का सुख प्राप्त करने से रोका जा सकता था कि वह लोगों द्वारा अपेक्षित एक योग्य वधू के मानदंडों पर पूरी नहीं उतरती?
गली के गुण्डे ने शीला के चूतड़ों की दरार में उंगली घुसा कर उसे छेड़ा, उधर उसके चाचा का हाथ जल जाने के कारण चाचा हस्तमैथुन नहीं कर पा रहा था, पढ़ें इस भाग में!
कम्मो मौसी को मेरे खड़े लंड की बात बताने लगी। बातों में उसने मौसी से पूछा कि क्या मौसी ने गांड मरवाई है। मौसी के साथ उनकी बेटी भी गांड मरवाने को आतुर हो गई।
गाँव में एक रात मैं चाचा के घर रही, चाचा शराब पीकर आए। चाची के दुत्कारने पर चाचा ने मेरे से अपनी ठरक मिटानी चाही। उन्होंने मेरे मुँह में अपना लंड घुसा दिया।
नारी को जब पति से पूरा यौन सुख नहीं मिलता तो इस आनन्द की तलाश में वो रिश्ते नाते ताक पर रख कर भी इसे प्राप्त कर लेती है। ऐसा ही कुछ इस कहानी में है।
अपनी चुदासी मॉम की हालत देख कर मेरी बीवी ने मुझसे अनुरोध किया कि मैं उसकी मॉम यानि अपनी सास को चोद कर उन्हें यौनसुख प्रदान करूँ! क्या मैं यह कार्य कर पाया?
मेरी विधवा सास दस करोड़ की मालकिन थी, उसका कोई और था नहीं तो माल मेरा ही था पर डर लगता था कि सास को कोई लंड पटा कर उसका माल ना हड़प जाए!
उन्होंने कमर के नीचे एक तकिया रखा और मेरी जाँघों को खोल दिया। मेरी बुर पर थूक लगा दिया और अपने लिंग से चूत को रगड़ने लगे, फ़िर वे झुके और मुझे कस कर पकड़ लिया।
दूर के रिश्ते में मेरी एक भतीजी से मुझे देखते ही प्यार हो गया था, उसे भी मुझसे उतना ही प्यार गया था। मगर हमारी शादी नहीं हो सकती थी। उस प्यार का फ़ल हम दोनों ने सात साल के बाद पाया जब हम दोनों की शादी कहीं और हो चुकी थी।