मेरे बॉस की बीवी बाइसेक्सुअल निकली
(Bisexual Babe Sex Kahani)
बाइसेक्सुअल बेब सेक्स कहानी में मेरी दोस्ती मेरी सहकर्मी से हुई तो मेरे बॉस ने हमारी शादी करवा दी और हमने फ्लैट कार भी दी. बाद में पता चला कि मेरी बीवी बॉस की बीवी की रखैल थी.
नमस्कार दोस्तो,
मेरा नाम विकास है। मैं भोपाल का रहने वाला हूँ।
मेरी उम्र 27 साल है और मेरी बीवी की उम्र 34 साल है।
मेरी शादी को 1 साल हो गया है।
मगर जो बाइसेक्सुअल बेब सेक्स कहानी मैं आपको बताने जा रहा हूँ, वह बहुत ही हैरतअंगेज़ है।
मेरी भोपाल में ही नौकरी लगी थी।
छोटे शहर से होने के कारण मुझे ज़्यादा कुछ पता नहीं था।
मेरे मालिक ने मेरी शादी करवाई।
अब आप लोग सोच रहे होंगे कि ऐसा क्यों? दरअसल, मैं कंपनी में मार्केटिंग देखता था।
वहाँ एक लड़की काम करती थी, जो मुझसे पहले से कंपनी में थी।
सारी क्लाइंट डिटेल वही रखती थी।
उसका बॉस के घर पर भी आना-जाना था।
हम दोनों अक्सर बातें करते।
वह मुझे अच्छी लगने लगी।
मगर मैं उसके बारे में कम ही जानता था।
वह बॉस की वाइफ, मैडम, से भी अच्छे से मिलती थी, जैसे दोनों सहेलियाँ हों।
दोनों की उम्र 30 के आस पास लगती थी मगर मैडम 40 से ऊपर थी और मेरी बीवी 30 के आस पास.
मैंने उसकी उम्र के बारे में कुछ नहीं पूछा, लेकिन वह मुझसे बड़ी थी।
शादी के बाद मुझे पता चला कि मेरी शादी बड़ी उम्र की लड़की से हुई है।
तो कहानी पर आते हैं।
हम दोनों अक्सर अच्छी बातें करते।
मुझे कभी नहीं लगा कि वह मुझसे बड़ी है।
जब यह बात मेरे बॉस को पता चली, तो मानो वह मन ही मन खुश हुए।
शादी का सारा खर्चा भी उन्होंने उठाया।
मेरे घरवाले गरीब हैं, तो यह सुनकर किसी ने मना नहीं किया।
मेरी बीवी का नाम वैशाली है।
बॉस से ज़्यादा बॉस की वाइफ, मेघना, खुश थी।
उन्होंने हमें रहने के लिए फ्लैट भी दिया, बोलीं कि दोनों की सैलरी से इसकी कीमत काट लेंगे।
मुझे लगा कि दाल में कुछ काला है।
मगर बॉस जितनी मदद कर रहे थे, उतना कमाने में मुझे सालों लगते।
तो मैं कुछ नहीं बोला।
वैसे भी मेरी शादी किसी गाँव की लड़की से ही होनी थी।
यहाँ तो मॉडर्न लड़की मिल गई।
मैं भी खुश था।
शादी हो गई।
शादी वाली रात वैशाली ने मुझसे कहा कि वह कुछ बताना चाहती है।
मगर मैंने उसे कुछ बोलने नहीं दिया।
मैं सीधे उस पर टूट पड़ा, मानो भूखा शेर।
मैं उसकी चूत को पागल की तरह चाट रहा था और उसके दूध को मसल रहा था।
वह भी मज़े ले रही थी।
उसने मेरा मुँह अपनी चूत में दबाया और बोली, “सुन मादरचोद, आदत डाल ले! बहुत चूत चाटनी है तुझे!”
उसके मुँह से गाली सुनकर मैं दंग था।
मगर अभी तो चुदाई बाकी थी।
मैंने मेरा लंड, जो 6 इंच का मोटा था, उसकी चूत में डाल दिया।
वह भी मज़े लेकर चुदने लगी।
मगर मुझे लगा कि यह चूत पहले ही बहुत लंड ले चुकी है। अब क्या, जो होना था, हो गया।
रात भर की चुदाई के बाद सुबह हम दोनों सो रहे थे।
तभी घंटी बजी।
वैशाली उठी और नींद में बिना कपड़ों के चल दी।
दरवाज़ा खुलने की आवाज़ आई।
मैं अपने कपड़े पहनकर बाहर गया।
देखा, वैशाली बिना कपड़ों के बैठी थी, वो भी बॉस और मैडम के साथ।
तभी सर बोले, “विकास, आ जाओ! मत शर्माओ!”
वैशाली भी बड़े नखरे दिखाते हुए बोली, “आ जाओ जी! इसकी आदत डाल लो!”
मैंने सर से कहा, “यह सही नहीं है!”
सर ने कहा, “ठीक है, जॉब छोड़ दो और अपनी बीवी को लेकर चले जाओ!”
यह मैं कर नहीं सकता था।
तभी मेघना बोली, “क्या सोच रहे हो? बोलो!”
उनकी बात का अंदाज़ बदल गया था।
वैशाली बोली, “मैं सब समझा दूँगी, मेघना। तुम इसको मत बोलो। वैसे भी छोटा है यह मुझसे!”
तीनों लोग हँसने लगे।
वैशाली मुझे अंदर कमरे में लाई और बोली, “अभी जो बोलीं मैडम, वो कर लो। बाकी मैं संभाल लूँगी!”
वह रोने लगी।
मैंने भी हाँ बोल दिया।
बाद में पता चला कि यह नाटक था।
बाहर मैडम ने आवाज़ दी, “विकास, आ जा!”
मैं गया।
मैडम बोली, “अब जो बोल रही हूँ, वो कर!”
दूसरे ही पल मैं मैडम के पैरों के बीच था।
उनकी काली पैंटी क्या खूब थी।
तभी वैशाली ने मुझे चूम लिया और बोली, “अच्छे से करना, जैसे कल रात को किया था!”
मेघना ने मेरा सिर पकड़कर अपनी चूत में दबा दिया।
थोड़ी देर बाद मेघना बोली, “इसको चोद दो! खाली अच्छी नहीं लगती यह!”
फिर क्या था, मेरे बॉस मेरी बीवी की चूत की चटनी बना रहे थे।
मेघना बोल रही थी, “तेज़! पूरा हाथ डाल दो इसकी चूत में!”
वैशाली की चूत इतनी ढीली थी।
मैं मेघना की चूत चाट रहा था।
तभी वैशाली की आवाज़ तेज़ होने लगी।
मैडम हँस रही थीं।
तभी मेघना बोली, “ले जाओ इसको अंदर! मैं विकास को ट्रेनिंग देती हूँ!”
वैशाली और बॉस कमरे में चले गए और दरवाज़ा बंद कर लिया।
मैडम बोली, “चल, कपड़े उतार दे! देखूँ तो क्या है तू!”
मैडम ने मुझे देखकर कहा, “कल से मेरे साथ जिम चलना! और ये सारे बाल काट, क्लीन बिल्कुल! चल, अब चूत चाटता रह!”
एक घंटा चूत चटवाने के बाद मैडम बोली, “अगली बार तेरे लंड को चखूँगी! जब तक वैशाली जो बोले, दवा लेना!”
उन्होंने एक पेनड्राइव निकालकर दी और बोली, “वैशाली के साथ देखना!”
तभी बॉस भी बाहर आ गए।
कपड़े पहनकर दोनों जाने लगे।
सर बोले, “ये तुम्हारे हनीमून की टिकट! गोवा घूम आना अगले हफ्ते छुट्टी!”
वे चले गए।
मैंने अंदर देखा तो वैशाली दर्द में थी, उसकी गांड सूजी हुई थी।
शायद उसकी गांड का भी वही हाल हुआ था जो चूत का था।
कुछ घंटों बाद जब वैशाली उठी, उसे चलने में दिक्कत हो रही थी।
मैं उसे वॉशरूम ले गया।
शाम के लिए बाहर से खाना भी मँगवा लिया।
वैशाली मुझे देखकर सब समझ चुकी थी कि मैं क्या पूछने वाला हूँ।
बिना देर किए वह खुद बोली, “मैं सब बता दूँगी। पहले कुछ खा लेते हैं!”
सब कुछ होने के बाद वैशाली बोली:
सुनो, तुम्हें जो भी पूछना है, मेरी बात सुनने के बाद! 9 साल पहले मैं सर से मिली।
मुझे जॉब की बहुत ज़रूरत थी।
मेरे घर की कंडीशन ठीक नहीं थी जब मैं इस काम में लगी!
सर और मैडम बहुत अच्छे हैं। उन्होंने मुझे बहुत सपोर्ट किया।
असल में मेघना बाइसेक्सुअल हैं। उन्हें लड़कियों में भी इंट्रेस्ट है।
जब मुझे पता चला कि वह मुझे पसंद करती हैं और चाहती हैं कि मैं उनके साथ सेक्स करूँ, तो मैंने भी हाँ कर दिया क्योंकि मैं भी बाइसेक्सुअल हूँ। मुझे चूत भी उतनी ही पसंद है जितने लंड।
फिर क्या था, सर ने हामी भरी कि अगर वह भी इसमें शामिल होंगे, तो ही मेघना को मेरे साथ हाँ करेंगे।
मैं अक्सर मेघना के साथ सेक्स करती।
सर को भी कोई दिक्कत नहीं थी।
मगर मेघना ने कहा कि अब मुझे शादी कर लेनी चाहिए, क्योंकि आगे परिवार में भी जाना पड़ेगा।
मैं लड़के देखने लगी, मगर कोई मिला नहीं।
इस बीच मुझे पता चला कि मेघना बहुत डॉमिनेटिंग हैं।
सारी प्रॉपर्टी और बिज़नेस मेघना का ही है।
मेघना मेरे लिए ऐसा लड़का ढूँढ रही थीं जो बिल्कुल मेरी तरह हो।
फिर तुम मिल गए।
हमें बस उनकी बात माननी है, विकास। बाकी तुम कुछ मत सोचो।
यह फ्लैट मेरे नाम पर है, गाड़ी भी … सब मैडम ने दिया। मना मत करना।
बाकी तुम्हें जो चाहिए, उसके लिए मैं हूँ। मैं तुम्हें और मेघना, दोनों को नहीं छोड़ सकती!”
ऐसा कहकर वह रोने लगी।
मैंने भी हाँ कह दिया।
वैशाली बोली, “अब तुम एंजॉय करो! तुम्हें चूत की कमी नहीं होगी, मेरी जान!”
वैशाली को दर्द था।
उसे सुलाकर मैं खुद भी सो गया।
हम दोनों 2 दिनों से एक-दूसरे से कोई बात नहीं कर रहे थे।
तीसरे दिन मेघना सुबह ही आ गईं और बोलीं, “वैशाली, इससे सब बता दिया न?”
वैशाली ने सिर हिलाया।
मुझे देखकर मेघना बोली, “पेनड्राइव देखी? दवा ली? बाल साफ किए?”
मैंने कुछ भी नहीं किया था।
वह बोलीं, “मुझे लगा ही था! वैशाली, इधर आ जा!”
हम तीनों ही हॉल में थे।
मैडम बोलीं, “यूएसबी प्ले कर!”
मैंने यूएसबी टीवी में लगाई।
उसमें वैशाली थी, बिना कपड़ों के।
5 औरतें थीं, मास्क के साथ।
वैशाली वीडियो में बोली, “मेरा नाम, पता, उम्र…” और वो सब जिससे वैशाली के बारे में पता चल सके।
तभी शायद मेघना ही बोली होंगी, “और तुम यह क्या करोगी?”
वीडियो में वैशाली बोली, “सबको चूत चाट के खुश!”
वैशाली चूत चाट रही थी।
लगभग 2 घंटे का वीडियो था, जिसमें वैशाली को बहुत मज़ा आ रहा था।
मेघना बोलीं, “अब यह वीडियो अगर बाहर आ गई या तुम्हारे घर वालों ने देखा, तो…”
मैं कुछ नहीं बोला।
वैशाली बोली, “विकास रेडी है, मेघना!”
कुछ और भी था।
मेघना ने अपना मोबाइल टीवी से कनेक्ट किया।
एक वीडियो में मैं नंगा मेघना की चूत चाट रहा था।
सर वैशाली को चोद रहे थे।
वैशाली आवाज़ कर रही थी, “और तेज़! और तेज़!”
सर बोले, “तेरे पति नहीं चोदता?”
वैशाली बोली, “वो चूत चाटता है!”
बाइसेक्सुअल बेब सेक्स की बात से मेरा चेहरा लाल था।
मेघना मुस्कुराकर बोलीं, “विकास, अब अपने कपड़े उतारो! और वैशाली, इसको क्लीन करो!”
आज के लिए मेरे सारे बाल हटा दिए गए।
मैं बिल्कुल क्लीन था।
वैशाली को बैग से कुछ दवाइयाँ देकर मेघना बोली, “नियम से इसको देना! अब इसकी देख-रेख तेरी ज़िम्मेदारी! चलो, दोनों अब आ जाओ! एक अच्छा सेक्स करके दिखाओ!”
मैडम ने मेरा मुँह पकड़ा और चूमते हुए एक गोली मेरी जीभ में दे दी।
“खा ले!” उन्होंने कहा।
वैशाली के साथ भी कुछ ऐसा ही किया।
अब हम दोनों सेक्स में लग गए।
वैशाली मेरा लंड चूस रही थी।
इस बार 6 इंच का लंड 7 इंच का हो गया था।
शायद गोली की वजह से।
वह मेरे पूरे शरीर को चाट रही थी और चूम रही थी।
वैशाली भी किसी रंडी की तरह बन गई थी।
फिर हम दोनों 69 की पोजीशन में थे।
मैं उठा और वैशाली को सोफे पर घोड़ी बनाकर चोदने लगा।
वह भी मज़े ले रही थी।
मेरा लंड उसकी चूत में ऐसे जा रहा था जैसे इंजिन में पिस्टन!
पट-पट की आवाज़ से पूरा कमरा गूँज रहा था।
ऐसे आधा घंटा चोदने के बाद मेघना उठी।
हम तो भूल ही गए थे कि मेघना भी रूम में थीं।
वह उठीं और बोलीं, “विकास, हटो!”
वैशाली उन्हें ऐसे देख रही थी जैसे किसी ने बच्चे से खिलौना छीन लिया।
वैशाली की चूत में मेरा लंड था।
मैं हटा और अलग हो गया।
मेघना बोलीं, “मेरे कपड़े उतार!”
मैं मेघना के कपड़े उतार रहा था।
वह भी बहुत खूबसूरत थीं।
उसके बाद वह सीधे वैशाली के बाल पकड़कर उसे बेडरूम ले गईं।
मैं पीछे-पीछे।
मेघना बोलीं, “अब मेरी चूत चाट! और लंड डालना, कंडोम लगाकर!”
मैंने कहा, “जी!”
मेघना वैशाली की चूत चाट रही थी.
पूरे कमरे एक अलग महक थी.
तभी मेघना बोली, “लंड डाल दे अब!”
अब मैं मेघना को चोद रहा था।
उसकी चूत वैशाली से काफी टाइट थी।
मेघना ने वैशाली की चूत में हाथ डाल दिया और बहुत तेज़ी से चोदने लगी।
वह गाली दे रही थी, “इस रंडी को बस मैं ही संतुष्ट कर सकती हूँ! तू मेरे लिए है!”
ऐसी चुदाई लगभग 2 घंटे चली।
तीनों थककर सो गए।
जब मैं उठा, तो वैशाली और मेघना चाय पी रही थीं, मानो कुछ हुआ ही न हो।
दोनों बोलीं, “बहुत सोए? अभी भी लंड खड़ा है इसका!”
मेघना हँसने लगीं और बोलीं, “वैशाली, इसका जिम और दवा का ध्यान रखना!”
मेघना चली गईं।
अब अगले भाग में आगे की कहानी, हनीमून की!
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