मेरी विधवा मम्मी की अन्तर्वासना

(Live In Sex Trial Kahani)

लिव इन सेक्स ट्रायल मैंने अपनी मम्मी को दिलाया जब मैंने देखा कि मेरी विधवा मम्मी सेक्स के लिए तरसती हैं. मैंने अपनी मम्मी के लिए पति की तलाश की.

मेरा नाम नितिन है, मेरी उम्र अभी 19 साल की है. मैं गुजरात का रहने वाला हूँ.

मेरे घर में मैं और मेरी विधवा मम्मी रहती हैं, उनका नाम अनामिका है.
वो 39 साल की हैं और बहुत ही सेक्सी औरत हैं.

उनका भरा हुआ खिला बदन, बड़े गोल बूब्स, गोरा रंग काले लम्बे बाल उन्हें काफी कामुक बनाते हैं.

मेरे डैड को गुजरे 5 साल हो गए हैं, पर मम्मी ने किसी मर्द से सबन्ध नहीं बनाए.
वो बहुत सीधी महिला हैं.

यह बात एक साल पहले की है. एक दिन मैं कॉलेज से जल्दी घर आ गया.
मम्मी मुझे दिखाई नहीं दीं.

मैं मम्मी के बेडरूम की तरफ गया तो कुछ आवाजें आ रही थीं.

मैंने अन्दर देखा तो हिल गया.
मम्मी नंगी बिस्तर पर पड़ी अपनी चूत रगड़ कर आआह आह कर रही थीं.

उनका गोरा बदन कुंदन सा चमक रहा था.
ये सब देख मैं अपने कमरे में आ गया और सोच में पड़ गया.

फिर मैंने सोचा कि मेरी मम्मी अभी जवान हैं, उन्हें दूसरी शादी कर लेनी चाहिए.

कुछ देर बाद मम्मी की काम करने की आवाज आने लगी.
तो मैंने मम्मी को खाना लगाने का कहा.

जब मैंने मम्मी से खाना की बात कही, तब मम्मी को हैरानी हुई कि मैं घर कब आ गया.

उन्होंने मुझसे पूछा कि तू कब आया?
मैंने सर झुका कर धीरे से कहा- जब आप कमरे में थीं.

मेरी मम्मी मेरी बात सुनकर एकदम से चौंक गईं और बिना कुछ बोले मेरे लिए खाना लगाने लगीं.
मैंने भी कुछ नहीं कहा.

खाना खाने के बाद मैं टीवी देखने लगा.

मम्मी मेरे पास बैठ गईं और उन्होंने धीरे से सॉरी कहा.
मैंने उनकी तरफ देखा और कहा- मैं समझ सकता हूँ.

मम्मी ने मेरे सर पर हाथ फेरा और मैंने उसी वक्त अपनी मम्मी को अपने गले से लगा लिया.
मम्मी मेरी बांहों में समा गईं और रोने लगीं.

मैंने उन्हें शांत किया और कहा- मां, अब मैं बड़ा हो गया हूँ … इस बात को समझता हूँ कि आपकी भी कुछ जरूरतें हैं.
वो कुछ नहीं बोलीं, बस सुबकती रहीं.

कुछ देर बाद मां चुप हो गईं और मेरे पास ही सो गईं.
अगले दिन रविवार था.

मैंने मम्मी से कहा- मम्मी मुझे आपसे कुछ बात करनी है.
मम्मी बोलीं- हां कहो बेटा.

मैंने कहा- मुझे पापा की कमी सालती है.
मेरी बात सुनकर मम्मी की आंखें नम हो गईं.
वो कुछ नहीं बोलीं.

मैंने कहा- मुझे पापा चाहिए.
ये सुनकर मम्मी स्तब्ध रह गईं और मेरी तरफ देख कर तेज आवाज में कहने लगीं- ये क्या कह रहा है तू?

मैंने मम्मी से दूसरी शादी करने को बोला.
वो मना करने लगीं.

जब मैंने जोर दिया तो वो बोलीं- ठीक है, पर कोई आदमी तो मिले. ऐसे किसी से भी कैसे शादी कर सकती हूँ?
मैंने कहा- वो तो मैं खोज लूंगा. पर मुझे आपकी पसंद जाननी है कि किस तरह का व्यक्ति आपको पसंद है?

इस पर मम्मी मेरी तरफ देख कर मुस्कुराने लगीं.
मैंने कहा- बताओ न?
मम्मी कुछ नहीं बोलीं.

मैंने कहा- मम्मी, मैं आपसे कुछ बातें आपका दोस्त बनकर जानना चाहता हूँ, आओ भी भूल जाओ कि मैं आपका बेटा हूँ.
वो सर हिला कर हामी भरने लगीं.

मैंने मम्मी से पूछा- पापा में आपको क्या क्या अच्छाई लगती थी और क्या क्या कमी दिखती थी.
मम्मी ने पापा की सिर्फ तारीफ़ की और ज्यादा कुछ नहीं कहा.

मैंने धीरे से पूछा- पापा आपके साथ सेक्स में कैसे थे?
मम्मी मेरी तरफ देखने लगीं.

मैंने कहा- अनामिका, मैं तुम्हारा दोस्त बन कर पूछ रहा हूँ.
मम्मी ने मेरे मुँह से अपना नाम सुना तो वो मुस्कुराने लगीं.

मैंने भी मम्मी को अपनी फ्रेंड बनाकर बात करनी शुरू की.
हमारी बातें चलती रहीं और अब मैं घर में अपनी मम्मी को अनु कह कर बुलाने लगा.

मैं मम्मी के लिए कुछ यंग लड़कियों की ड्रेस लाने लगा.
वो मेरे साथ काफी खुल कर रहने लगीं.

मैं लगातार मम्मी के साथ खुलता गया और उनके साथ सेक्स की बातें करने लगा.

मेरा लक्ष्य तय था कि मुझे अपनी मम्मी की पसंद का जीवनसाथी खोजना था.
मैंने एक मैट्रीमोनियल साईट पर कुछ युवकों की प्रोफाइल मम्मी को दिखाना शुरू की.

हम दोनों हंसते हुए लड़कों की प्रोफाइल देखते थे.
मम्मी लड़के को देख कर अपनी राय बताती थीं और मैं समझने की कोशिश करता था कि मम्मी की पसंद कैसी है.

कुछ दिनों में मुझे समझ आ गया कि मम्मी को देखने में लम्बा सुंदर आकर्षक और सेक्स में मजबूत मर्द चाहिए था.
उसकी कमाई मम्मी के लिए ज्यादा मायने नहीं रखती थी.
बस वो मम्मी को बिस्तर में संतुष्ट करने के साथ साथ मुझे भी बाप का सुख दे सके.

मैं अपने काम में लग गया.
मैंने सोचा कि देखने में और बातचीत में तो आदमी को जाना जा सकता है मगर वो बिस्तर में मजबूत मर्द साबित होगा और मेरी मम्मी को संतुष्ट कर पाएगा, इसकी जानकारी कैसे हो सकती है.

काफी सोचने के बाद मुझे जो रास्ता समझ आया वो ये था कि मम्मी उस आदमी से शादी करने से पहले उससे चुदकर देखें तो शायद बात बन सकती थी.

अब ये बात मैं मम्मी से कैसे कही जाए, वो मुझे समझना थी.

मैंने मम्मी से कहा- क्या आप शादी से पहले लिव इन में रहना पसंद करेंगी?
मम्मी बोलीं- वो क्या होता है?

मैंने उन्हें लिव इन का मतलब समझाया कि आपको कुछ दिन किसी आदमी के साथ रह कर देखना होगा कि वो आदमी आपके साथ कैसा जीवन व्यतीत करेगा.

पहले तो मम्मी को समझ नहीं आया कि मैं क्या कहना चाहता हूँ. बाद में जब मैंने उन्हें नेट पर कुछ उदाहरण दिखाए तो वो समझ गईं कि उन्हें उस मर्द के साथ लिव इन सेक्स ट्रायल करके भी देखना होगा कि वो बिस्तर में उनके लिए कैसा रहेगा.

वो शर्मा गईं और उन्होंने कहा- तुझे कोई दिक्कत नहीं हो तो मुझे भी कोई दिक्कत नहीं है.

मैं समझ गया कि मम्मी भी मर्द की जांच करने की इच्छुक हैं.
अब मैंने इंटरनेट पर मम्मी की प्रोफाइल बना दी और दूसरी शादी का प्रपोजल अपलोड कर दिया.

दो ही दिन में बहुत सारे मैसेज आने लगे; कई लोग अपनी फ़ोटो भेजने लगे.

मैंने मम्मी को सारे फोटो दिखा दिए.
मम्मी ने एक मनोज नाम के आदमी से बात करने को बोला.

मैंने उनसे मम्मी को लेकर सारी बात खुल कर की और उन्हें बताया- यदि सब कुछ ठीक रहा, तो सीधे शादी ही करेंगे. क्या आप सीधे शादी करने का विचार रखते हैं?

वो भी मेरी बात से रजामंद थे.
उन्हें मैंने अपने घर बुला लिया.

करीब 10 दिन बाद वो तैयारी से मेरे घर आ गए.
उनकी उम्र करीब 40 साल होगी, अच्छे लम्बे कद के आदमी थे.

मैं उनसे बात करने लगा.
फिर मम्मी चाय लेकर आईं.

उन्होंने मम्मी को देखा.
मम्मी भी वहीं बैठ गईं.
उन्होंने अपनी स्टोरी बताई कि कैसे उनकी पत्नी का उनसे तलाक हुआ.

इसके बाद मैंने दोनों को अकेला छोड़ दिया.
कुछ देर तक उन दोनों में सब तरह की बात हुईं.

मैंने मम्मी से कह दिया था कि आप किसी भी तरह का संकोच नहीं करना.

मेरी मम्मी ने उन्हें पसंद कर लिया था.
मनोज जी को भी मेरी मम्मी पसंद आ गई थीं.
हम तीनों बात करने लगे.

धीरे धीरे रात हो गयी.

मनोज जी आज हमारे यहां ही रुकने वाले थे. उनकी बिस्तर की परफोर्मेंस देखना बाकी थी. मम्मी इस बात के लिए पूरी तरह से मन बना चुकी थीं कि यदि मनोज जी चुदाई में मस्त निकले तो उन्हें वो अपना जीवनसाथी बना लेंगी और यदि नहीं, तो किसी और के साथ बात चलाई जाएगी.

बाद मैं मम्मी के कमरे में गया और पूछा- कैसे लगे मनोज जी?
मम्मी शर्माती हुई बोलीं- ठीक हैं, पर मैं कुछ पक्का नहीं कर पा रही हूँ.

मैंने मम्मी से कहा- आज रात आप मनोज जी के साथ रुक जाओ और उन्हें चैक कर लो.
मम्मी बनावटी गुस्से से बोलीं- ये क्या बोल रहा है तू?
मैंने कहा- मम्मी इसमें क्या हो गया … ये कोई नहीं जान पाएगा.

मम्मी भी चुदासी थीं, कुछ देर के विरोध के बाद वो बोलीं- ठीक है.

तो मम्मी मनोज जी के कमरे में चली गईं मैं खिड़की से देखने लगा.

मनोज जी बोले जी- आप?
मम्मी जी- वो नितिन बोल रहा है कि आज मैं यहीं आपके पास रुक जाऊं.

मनोज जी समझ गए कि आज रात लिव इन सेक्स ट्रायल होना है.
वो बोले- मैं अपने बारे में पूरी तरह से पक्का हूँ कि मैं आपको खुश कर सकूँगा. तब भी मैं भी आपसे कुछ चाहता हूँ.

मम्मी ने उनसे पूछा- आप क्या चाहते हैं?
उन्होंने अपने बैग से एक साड़ी निकाली और मंगलसूत्र मम्मी को दे दिया.

वो बोले- अनामिका जी, आप तैयार होकर आओ.
मम्मी खुश होकर बोलीं- जी आती हूँ.

मम्मी अपने रूम में आ गईं.
उन्होंने गहरी लिपिस्टिक लगाई. खुले बाल रखे, मस्त मेकअप किया, फिर वो बाहर निकलीं.

लाल साड़ी में मम्मी दुल्हन लग रही थीं.
उन्होंने दूध का गिलास लिया और मनोज जी के कमरे में चली गईं.

मनोज जी मम्मी को देख कर बोले- अनामिका, कितनी सुंदर हो तुम!
मम्मी ने उनको दूध का गिलास दे दिया.
मनोज जी ने आधा पिया, आधा मम्मी को पिला दिया.

फिर वो मम्मी को बिस्तर पर लेकर बैठ गए.
वो बोले- अनामिका, तुमने मंगलसूत्र नहीं पहना?
मम्मी बोलीं- आप पहना दो.

मनोज जी ने पहले मम्मी की मांग भरी, फिर मंगलसूत्र पहना दिया.

उसके बाद वो मम्मी को बिस्तर पर ले आए, मम्मी के होंठों को पीने लगे.
मम्मी भी उनका साथ दे रही थीं.

दोनों एक दूसरे से लिपटने लगे.
मस्ती चढ़ने लगी.

मम्मी ने अपनी साड़ी हटा दी, वो लाल ब्लाउज लाल पेटीकोट में आ गईं.

मनोज जी मेरी मम्मी के ब्लाउज के ऊपर से चुचियों को दबाने लगे.
मम्मी मस्ताने लगीं- आआह … जोर से दबाओ … आआह!

मनोज जी ने ब्लाउज खोल कर अलग कर दिया, फिर ब्रा भी उतार दी.
मम्मी की गोल गोल बड़ी चुचियां अब नंगी थीं.

मनोज जी उनके चूचुकों को पीने लगे.

मम्मी ‘आआह स्स …’ की आवाज निकाल रही थीं.
तभी मनोज जी ने मम्मी के पेटीकोट का नाड़ा खोल कर उसे उतार दिया.
फिर पैंटी भी उतार दी.

मम्मी की चूत एकदम साफ थी. उस पर झांट का नामोनिशान नहीं था.
मतलब मम्मी पहले से ही चुदने की तैयारी में थीं.

मनोज जी ने मम्मी दोनों टांगों को खोल दिया और उनकी सफाचट चूत में मुँह लगा दिया.
वो मम्मी की चूत चाटने लगे.
इससे मम्मी मदहोश होती जा रही थीं, उनकी आवाजें तेज होती जा रही थीं.

कुछ देर बाद मम्मी कराहती हुई बोलीं- अब आप डालो भी!

मनोज अंकल ने अपने मोटा लंड मम्मी की चूत में लगा दिया और धक्का मार दिया.
मम्मी की चीख निकल गयी वो कराह कर बोलीं- आआह … बहुत दर्द हो रहा है … मेरी फट गई.

अंकल ने मम्मी की चीख पर मानो कोई ध्यान ही नहीं दिया.
उन्होंने दूसरे धक्के में पूरा लंड अन्दर कर दिया.

मम्मी ‘आआह … उन्ह …’ करती रहीं और मनोज अंकल ने मम्मी की चूत में अपना पूरा डंडा पेल दिया.

कुछ देर बाद मम्मी को मजा आने लगा और वो ‘आह चोदो … आआह …’ करने लगीं.
दोनों लोग धकापेल चुदाई करने लगे.

पूरा बेड हिल रहा था.
‘आआह आआह …’ की आवाज गूंज रही थी.

मैंने देखा मनोज जी ने मम्मी के मुँह में अपने मुँह से थूक दिया.
मम्मी उनके थूक को खा गईं.

मम्मी ‘आआह …’ करके झड़ गईं.
मनोज जी भी मम्मी की चूत में झड़ गए.
दोनों बिस्तर पर गिर पड़े.

मैं वहां से चला आया.

अगले दिन मैंने मम्मी से पूछा- कैसे हैं मनोज जी?
वो हंसती हुई बोलीं- बहुत अच्छे हैं.

इस तरह से मेरी मम्मी फिर से शादीशुदा हो गईं और मैं उन दोनों का राजा बेटा बन गया.

आपको लिव इन सेक्स ट्रायल कहानी कैसी लगी, प्लीज़ मुझे मेल करें.
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