दो नम्बर का बदमाश

गर्मियों की छ्ट्टियों में मेरी बीवी मायके गई थी. मैं दो नम्बर का बदमाश घर पर अकेला ब्लू फिल्म देख कर लंड हिला रहा था. रात को जोर की बारिश आई और किस्मत से मेरी साली भी आ टपकी. जीजा-साली में क्या हुआ फिर?

दो नम्बर का बदमाश-3

दोस्तों अब दिल्ली लुटने को तैयार थी… मैंने उसका टॉप उतार दिया। दोनों क़बूतर आज़ाद हो गए। वो आँखें बन्द करके लेटी थी। होंठ काँप रहे थे। मैंने अभी तक उसकी चूत को हाथ भी नहीं लगाया था। आप तो जानते हैं मैं प्रेम गुरु हूँ और जल्दीबाज़ी में विश्वास नहीं रखता हूँ। मैं तो […]

दो नम्बर का बदमाश-2

मैं सोफ़े पर बैठ गया। जैसी ही बाथरूम का दरवाज़ा खुला गीले बालों से टपकती शबनम जैसी बूँदे, काँपते होंठ, क़मसिन बदन, बेल-बॉटम में कसी पतली-पतली जाँघों के बीच फँसी बुर का इतिहास और भूगोल यानी चीरा और फाँकें साफ़ महसूस हो रही थी। हे भगवान क्या फुलझड़ी है, पटाखा है, या कोई बम है। […]

दो नम्बर का बदमाश-1

ये चूतें, गाँड, और लंड सब कामदेव के हाथों की कठपुतलियाँ हैं। कौन सी चूत और गाँड किस लंड से, कब, कहाँ, कैसे, और कितनी देर चुदेगी कोई नहीं जानता।

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