सविता भाभी का बकरा

मेरा नाम राजेश है, 22 साल का हूँ, मैं अभी कुंवारा हूँ।
कुछ समय पहले मेरी सरकारी नौकरी लखनऊ से 200 किलोमीटर दूर एक शहर में लगी तो मैं वहाँ अपने रिश्ते की एक मौसी के यहाँ रह रहा हूँ।
मौसी के एक बेटे, बहू घर में ऊपर, मैं और मौसी नीचे रहते हैं।
भैया सुबह आठ बजे नौकरी को चले जाते, सविता भाभी मौसी के साथ काम कराती रहती हैं।

लड़कियों को घूरना, मुठ मारना, ये सब और लड़कों की तरह मैं भी करता हूँ। मैंने किसी औरत या लड़की के बदन को हाथ नहीं लगाया था। ऊपर वाली सविता भाभी से एक दो बार मेरी हल्की फुलकी बात हुई थी लेकिन मैंने कभी उन्हें गलत नज़र से नहीं देखा था।

मेरे वहाँ जाने के 15-20 दिन बाद घर की पानी की मोटर ख़राब हो गई, पानी ऊपर नहीं चढ़ रहा था।

उस दिन मेरी छुट्टी थी, भैया घर पर नहीं थे, मौसी बाज़ार गई हुईं थीं। मैं घर मैं अकेला था।

कुछ देर बाद भाभी नीचे आईं और मुझे देखकर मुस्कराते हुए बोलीं- राजेश, तुम्हें नहाना हो तो नहा लो। अगर मैं एक बार नहाने लगी तो पूरा एक घण्टा लगेगा।

मैंने कहा- मेरी तो आज छुट्टी है, मैं तो आराम से नहा लूँगा। लेकिन आपको लगता नहीं कि एक घण्टा बहुत ज्यादा होता है?

भाभी मेरे सामने साड़ी उतारते हुए बोलीं- पूरा बदन मल मल कर नहाती हूँ, तभी तो इतनी चिकनी हूँ।

साड़ी उतार कर पलंग पर रखते हुए बोली- अच्छा बताओ, मैं माल लगती हूँ या नहीं?

सविता भाभी का बकरा-12

सोनम की चूत और गाण्ड पर मेरा पूरा कब्ज़ा है, वो मुझे जैसा मैं चाहता था वैसा सेक्स करने देती है, उसने मुझे घर मैं कभी कोई दिक्कत नहीं होने दी।

सविता भाभी का बकरा-11

सोनम और मैं बिस्तर पर लेट गए थे, उसने लॉन्ग स्कर्ट के नीचे चड्डी नहीं पहन रखी थी, मेरा हाथ उसकी स्कर्ट में घुस कर जाँघों से फिसलता हुआ चूत के दाने पर चला गया, जिसे मैं रगड़ने लगा।

सविता भाभी का बकरा-10

सविता भाभी सोनम और मैं साथ साथ नंगे नहाए और नहाते हुए एक दूसरे के अंगों को हमने खूब सहलाया-दबाया और एक दूसरे के छेदों में गुदगुदी की, बड़ा मज़ा आया।

सविता भाभी का बकरा-9

हम दोनों एक दूसरे के बदन पर साबुन लगाने लगे, मैंने सविता भाभी की चूत पर साबुन लगाते हुए उंगली अन्दर डाल दी और पूसी दबाते हुए बोला- आपकी चूत तो पूरी रसीली हो रही है।

सविता भाभी का बकरा-8

सोनम बोली- मैं अपने पति के साथ सिर्फ 15 दिन रही थी। चुदने के बाद चूत की आग बढ़ जाती है, एक साल से दबा कर रखी हुई है और चुदने का बड़ा मन कर रहा है।

सविता भाभी का बकरा-7

सोनम बोली- दीदी की माँ की चूत, मुझे सोनम बुलाओ, कुतिया और रंडी भी चलेगा लेकिन दीदी दोबारा बोला तो गाण्ड में बांस घुसा कर यहाँ से भगा दूँगी।

सविता भाभी का बकरा-6

सविता भाभी की चूत मेरी आँखों के सामने थी, मैं उनके ऊपर चढ़ गया, अपने हाथ से चूत पर मेरा लौड़ा लगाते हुए बोली- आज बस में तुमने बहुत तड़पाया है। अब इस कमीनी फ़ुद्दी को फाड़ दो।

सविता भाभी का बकरा-5

भाभी ने मेरा हाथ हटा कर अपनी साड़ी की गाँठ थोड़ी ढीली कर दी और मेरा हाथ नाभि पर रख दिया। नाभि के रास्ते से आराम से हाथ उनकी साड़ी के अन्दर घुस गया।

सविता भाभी का बकरा-4

भाभी मेरा लौड़ा अपने हाथों से सहलाते हुए बोली- इसकी जगह औरतों की चूत में होती है। अब तुम्हारी उम्र इसे औरतों के छेदों में डालने की है, हाथों से हिलाने की नहीं है।

सविता भाभी का बकरा-3

भैया लौड़ा अन्दर पेलते जा रहे थे और भाभी सिसकारियाँ भरने लगीं थीं, शीशे में से भाभी ने मुझे भी देख लिया था, उन्होंने मुझे आँखों से शांत रहने का इशारा किया.

सविता भाभी का बकरा-2

भाभी ने खड़े होकर मुझे अपनी दुधिया चूचियों से चिपका लिया और बोलीं- शुरू शुरू में सबके साथ ऐसा ही होता है। अभी थोड़ी देर में यह दुबारा खड़ा हो जाएगा। नहाने के बाद बिस्तर पर मेरी चूत में पेलना। दो दिन में मैं पूरा चोदू बना दूँगी तुम्हें !

सविता भाभी का बकरा-1

सविता भाभी मेरे सामने साड़ी उतारते हुए बोलीं- पूरा बदन मल मल कर नहाती हूँ, तभी तो इतनी चिकनी हूँ। साड़ी उतार कर पलंग पर रखते हुए बोली- अच्छा बताओ, मैं माल लगती हूँ या नहीं?

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