नंगी नहाती मोनिका का बदन
मेरे मन में उसका नंगा बदन घूम रहा था। उसके ऊपर पानी की बूँदें देख कर लग रहा था कि जैसे कोई परी हो, और उसके ऊपर मोती सजे हुए हों।
खुले स्थान पर जैसे छत पर, समुद्र तट या बाग बगीचे में चुदाई की कहानियाँ
Khuli jagah par jaise garden, beech, road side, chhat par chudai ki kahaniyan
Stroies about sex fucking in the garden, at the beech, or on the roof
मेरे मन में उसका नंगा बदन घूम रहा था। उसके ऊपर पानी की बूँदें देख कर लग रहा था कि जैसे कोई परी हो, और उसके ऊपर मोती सजे हुए हों।
नील ने अपनी चूत को मेरे लंड पर रख दिया, चूत मेरा सारा लंड निगल गई और अब मैंने नील के दोनों बूब्स अपने हाथ में ले लिए, दबाने लगा।
दोस्तो, मेरा नाम राज है, उम्र 30 साल, मैं एक डिज़ाईनर हूँ, फरीदाबाद का रहने वाला हूँ। मैं इस वेबसाइट अन्तर्वासना का नियमित पाठक हूँ, सभी कहानियों को मैंने पढ़ा है और बहुत मजा लिया है। यह मेरी पहली कहानी है। मैं एक सेक्टर में किराये के मकान में रहता हूँ और मेरे सामने वाले […]
दोस्तो, नमस्ते, कैसे हैं आप लोग? काफी दिनों से समय न मिलने के कारण आपके सामने न आ सका। माफ़ कीजियेगा दोस्तो ! वैसे झूठी कहानी मुझे लिखनी नहीं आती, मैं जो भी लिखता हूँ वो मेरी वास्ताविक कहानियाँ होती हैं, कुछ दिनों से काम में व्यस्त रहने के कारण कहानी न लिख सका, इस […]
मेरा नाम अंकित शर्मा है, मैं 22 साल का गोरा, स्मार्ट दिखने वाला लड़का हूँ। मैं मूल रूप से इंदौर का रहने वाला हूँ लेकिन फिलहाल नोएडा में अकेला रह रहा हूँ। लड़कियाँ कहती हैं कि मुझमें कुछ बात है जो उन्हें मेरी तरफ आकर्षित करती है। मेरे लण्ड की लम्बाई सात इंच तथा मोटाई […]
उसकी पेंटी देखते ही मेरे मुँह में पानी आ गया मगर पार्क में होने की वजह से मैं उसकी फ़ुद्दी चाटने में वक्त बर्बाद नहीं कर सकता था... देर न करते हुए मैंने अपना लौड़ा बाहर निकाला
हेलो दोस्तो, मेरा नाम रोनित है, मेरी उम्र 25 साल है, मैं एक सॉफ्टवेयर कंपनी में सॉफ्टवेयर इंजिनियर हूँ। अन्तर्वासना पर यह मेरी पहली कहानी है। बात एक साल पहले की है, एक दिन मैं दिल्ली में प्रिया हॉल में पिक्चर देखने गया था। पिक्चर तो दोस्तो एक बहाना था ताकि मुझे वहाँ पर कोई […]
फिर मैंने उसकी सलवार का नाड़ा खोला दिया, अब मुझे बिल्कुल भी डर नहीं लग रहा था। मुझे पता था कि यह जाग रही है। जैसे ही मैंने उसकी सलवार नीचे की तो उसने करवट ले ली मेरी समझ में यह नहीं आया कि इसने करवट क्यों ले ली !
उस दिन घर आकर मैंने दसियों बार ब्रश किया होगा… अब मेरा भाभी से और दानिश से कोई लेना देना नहीं था… महीनों बीत गए दोनों से बात किये हुए। बस घर पर पढ़ाई.. टीवी.. कंप्यूटर.. एक दोपहर मुझे एक ईमेल आया संजय का ! मैंने मैसेज किया- संजय, कहाँ हो यार…चल मिलते हैं !संजय […]
प्रणाम पाठको, आप सब मुझे बहुत प्यार देते हैं, कुछ वास्तविक जीवन में मिलकर प्यार अपने लंड को मेरी गांड में डालकर देते हैं। यह बात दो दिन ही पुरानी है। कंपनी में काम मानसून सीज़न में कम होता है, मैं छुट्टियाँ काटने अपने शहर गया हुआ था, सुबह उठा, घने काले बादलों ने आसमान […]
लेखिका : आयशा खान प्रेषक : अरविन्द सुरैया उस अजनबी के बदन से अलग हुई और वो दोनों नीचे हम लोगों के पास आ गये। उस अजनबी का लंड अभी भी सख्त था और उस पर सुरैया की चूत का गाढ़ा सफ़ेद रस लगा था। तभी उस अजनबी ने विवेक के पीछे आकर उसके चूतड़ […]
लेखिका : आयशा खान प्रेषक : अरविन्द मैं आयशा ख़ान हूँ, 21 साल की हूँ और लखनऊ में रहती हूँ। मेरी एक पक्की सहेली का नाम है सुरैया, वो 22 साल की है। सुरैया की बड़ी बहन की शादी हो चुकी है और वो दिल्ली में रहती है। मुझे दिल्ली में एड्मिशन के लिई दिल्ली […]
चम्पा को चोद लेने के बाद मेरे दिलो दिमाग पर अब गंगा मौसी छाने लगी थी। मेरी अश्लील हरकतों को गंगा भांप गई थी, वो मुझसे बचती रहती थी। पर मैं अपने दिल में मधुर कसक लिये उनके आसपास मण्डराता रहता था। वैसे गंगा मौसी मुझे अभी भी बहुत प्यार करती थी, बस मेरी हरकतों […]
दोस्तो, मेरा नाम मीत है, मैं मुंबई में रहता हूँ। अब तक मैंने बहुत महिलाओं को चोदा है खासकर 30 साल से 60 साल की महिलायें मुझे बहुत पसंद हैं चोदने में, क्योंकि वो मजा भी पूरा देती है और कोई शर्म भी नहीं और चोदने में झिझक भी नहीं! लेकिन एक घटना आपके साथ […]
मेरा नाम विकी है, और मेरी उमर 23 साल। मेरा जन्म उत्तर प्रदेश के एक छोटे से गाँव में हुआ जहाँ से शहर का रास्ता कम से कम 2 घंटे की दूरी पर था। यह कहानी मेरी बड़ी बहन समीरा के कारनामों की है, जिनका रंग आप आने हिसाब से तय कर सकते हैं। वो […]
मैं चाह रही थी कि काश वक्त रुक जाए और जगन इसी तरह मुझे चोदता रहे। पर मेरे चाहने से क्या होता आखिर शरीर की भी कुछ सीमा होती है। मैंने अपनी चूत का संकोचन किया
मैंने अपनी छमिया की फांकों पर पहनी दोनों बालियों को पकड़ कर चौड़ा किया और मूतने लगी। फिच्च सीईईई.... के मधुर संगीत के साथ पतली धार दूर तक चली गई। आपको बता दूं मैं धारा प्रवाह नहीं मूतती। बीच बीच में कई बार उसे रोक कर मूतती हूँ।
मेरा मन बुरी तरह उस मोटे लंड के लिए कुनमुनाने लगा था। काश एक ही झटके में जगन अपना पूरा लंड मेरी चूत में उतार दे तो यह जिंदगी धन्य हो जाए। मेरी छमिया ने तो इस ख्याल से ही एक बार फिर पानी छोड़ दिया।
बात तब की है जब लैला दीदी 18 साल की नवयौवना हो चुकी थी। बला की खूबसूरत तो लैला दीदी थी ही, ऊपर से कुदरत ने दीदी को यौवन के कटाव और उठान भी भरपूर दिये थे, मतलब दीदी की छाती और कूल्हे अपनी हमजोलियों के मुकाबले ज्यादा ही बड़े थे। लैला दीदी उन दिनों दो ही जगह मिलती थी, या तो शीशे के सामने या घर के मेन गेट पर।
मेरा लंड पूरी तरह उसकी गांड में चला गया और वो जोर से चिल्लाई तो वो बोलने लगी- मुझे यह नहीं करना, बस निकाल लो। मैंने उसे बहुत समझाया कि जो दर्द होना था वो हो गया, अब तो मजा आएगा बस थोड़ा सा और। और फिर मैं अपने लंड को धीरे धीरे अंदर-बाहर करने लगा।